सीतापुर 23 सितंबर। समाजवादी पार्टी के नेता आजम खान मंगलवार सुबह 9 बजे सीतापुर जेल से रिहाई होनी थी. उनकी रिहाई का आदेश जेल प्रशासन पहुंच गया है. आजम खान की 23 महीने के बाद रिहाई को लेकर जेल के गेट पर समर्थक भी जुट गए. लेकिन, एक मुकदमे में जुर्माना राशि जमा न हो पाने के कारण आजम खान की रिहाई अटक गई. आजम खान अक्टूबर 2023 से सीतापुर जेल में बंद हैं. आजम के वकील जुबेर अहमद खान ने बताया, आजम खान लगभग 2 साल पहले सीतापुर जेल गए थे. अब 10 बजे के बाद रामपुर कोर्ट के खुलने पर वहां जुर्माने की राशि जमा की जाएगी. इसके बाद ही सपा नेता जेल से बाहर आ पाएंगे.
वहीं सीतापुर जेल से रिहाई होने की खुशी में वहां पहुंच रहे आजम के समर्थकों की 15 गाड़ियों का यातायात पुलिस ने चालान कर दिया. ट्रैफिक पुलिस के इंस्पेक्टर का कहना है कि ये सभी गाड़ियां नो पार्किंग जोन में खड़ी थीं, इसलिए इनका चालान किया गया है. ट्रैफिक व्यवस्था को बेहतर बनाए रखने के लिए ये कार्रवाई की गई है.
मुरादाबाद से सपा सांसद रुचि वीरा आजम खान की रिहाई से पहले सीतापुर पहुंची हैं। उन्होंने कहा-न्यायपालिका का धन्यवाद करना चाहूंगी। सभी लोग दुआ भी कर रहे थे। आज रिहा हो रहे हैं। आजम के जो चाहने वाले और पार्टी कार्यकर्ता हैं, वो सभी आज खुश हैं।
आजम खान सपा सरकार में कई महत्वपूर्ण विभागों के मंत्री रहे. 1989 में उत्तर प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री बने और श्रम, रोजगार, मुस्लिम वक्फ और हज जैसे विभागों को संभाला. 1993 में वे एक बार फिर राज्य सरकार में कैबिनेट मंत्री बने. आजम खान उत्तर प्रदेश विधानसभा में विपक्ष के नेता भी रहे हैं. जबकि, 2003 से 2007 तक कैबिनेट मंत्री के रूप में संसदीय मामलों, शहरी विकास, जल आपूर्ति, शहरी रोजगार एवं गरीबी उन्मूलन विभागों का कामकाज देखा. 2012 में अखिलेश यादव की सरकार के दौरान आजम खान नगर विकास समेत कई महत्वपूर्ण विभागों के मंत्री बने.
दरअसल, इलाहाबाद हाईकोर्ट ने गुरुवार को एक बार पर जबरन कब्जे के मामले में आजम को जमानत दी थी, तभी रामपुर कोर्ट ने जौहर यूनिवर्सिटी से जुड़े शत्रु संपत्ति मामले में नई धाराएं जोड़ते हुए उन्हें 20 सितंबर को तलब कर लिया। लेकिन कोर्ट ने ये धाराएं खारिज कर दीं, जिससे रिहाई का रास्ता साफ हुआ।
आजम के खिलाफ 104 मुकदमे दर्ज हैं। इसमें अकेले रामपुर में 93 मामले दर्ज हैं। सभी मामलों में उन्हें जमानत मिल चुकी है। 2022 में भड़काऊ भाषण देने के एक मामले में अदालत ने दो साल की सजा सुनाई थी। इसके बाद आजम की विधायकी चली गई थी।
आजम फरवरी, 2020 में गिरफ्तारी के बाद सबसे पहले रामपुर जेल भेजे गए थे। वहां से उन्हें सुरक्षा कारणों से सीतापुर जेल में शिफ्ट कर दिया गया था। मई, 2022 में आजम खान जेल से जमानत पर बाहर आ गए। इसके बाद एक मामले में सजा होने के बाद 18 अक्टूबर, 2023 को आजम खान ने सरेंडर कर दिया था। इसके बाद उन्हें पहले रामपुर जेल भेजा गया, फिर सीतापुर जेल शिफ्ट कर दिया गया था।