श्रीकाकुलम 01 नवंबर।आंध्र प्रदेश के श्रीकाकुलम के वेंकटेश्वर स्वामी मंदिर से भगदड़ की बड़ी घटना सामने आई है। इस भगदड़ में 9 श्रद्धालुओं की मौत हुई, जबकि कुछ लोग घायल भी हुए हैं। घायलों को इलाज के लिए भर्ती करवाया गया है। अधिकारियों ने आशंका जताई है कि मृतकों की संख्या बढ़ सकती है, क्योंकि कुछ घायलों की हालत बेहद गंभीर बनी हुई है।
यह भयानक हादसा कार्तिक मास की एकादशी के पावन अवसर पर हुआ, जब मंदिर में दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ पड़ी थी। अब तक सामने आई रिपोर्ट्स के अनुसार मंदिर परिसर के प्रवेश द्वार के पास अचानक लोगों का दबाव बढ़ गया। इससे अफरा-तफरी मच गई और भगदड़ की स्थिति बन गई। कई लोग नीचे गिर पड़े और उनके ऊपर भीड़ चढ़ती चली गई, जिससे यह बड़ा हादसा हुआ।
शुरुआती जानकारी के अनुसार, भारी भीड़ के कारण रेलिंग गिर गई। घायल श्रद्धालुओं को अस्पताल ले जाया गया है। अधिकारियों को आशंका है कि मृतकों की संख्या बढ़ सकती है। मरने वालों में ज्यादातर महिलाएं हैं।
हादसे की जानकारी मिलते ही प्रशासन ने तुरंत राहत और बचाव कार्य शुरू किया। सभी घायलों को पास के सरकारी अस्पतालों में भर्ती कराया गया है, जहाँ उनका इलाज चल रहा है। ज़िला प्रशासन ने स्थिति पर नज़र बनाए रखी है और अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है ताकि हालात पर पूरी तरह काबू पाया जा सके।
श्रीकाकुलम वेंकटेश्वर मंदिर आंध्र प्रदेश का प्रसिद्ध और प्राचीन मंदिर है। इसे उत्तरा तिरुपति यानी उत्तर का तिरुपति भी कहा जाता है क्योंकि इसका स्वरूप और पूजा-पद्धति तिरुपति बालाजी मंदिर से मिलती-जुलती है। यहां भगवान वेंकटेश्वर (श्री विष्णु) की पूजा की जाती है, जिन्हें स्थानीय लोग श्रीनिवास, बालाजी या गोविंदा नामों से भी पूजते हैं। यह मंदिर 11वीं–12वीं सदी में बनाया गया माना जाता है, जब चोल और चालुक्य शासकों का प्रभाव इस क्षेत्र में था।
आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने कहा, “काशी बुग्गा वेंकटेश्वर मंदिर में भगदड़ की घटना अत्यंत दुखद है। मैं मृतकों के परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं।” मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि घायलों को सर्वोत्तम संभव उपचार प्रदान किया जाए।

