Date: 27/07/2024, Time:

अतिक्रमण और अवैध निर्माण, प्रतिबंधित क्षेत्रों में मेट्रो का प्रवेश रोकने और बाइकर्स की स्टंटबाजी पर अंकुश लगाने के लिए हर थाने में अलग से तैनात हो शस्त्र और वाहन के साथ पुलिस

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प्रशासन और पुलिस अफसरों द्वारा नगर निगम और विकास प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ आए दिन बैठक कर जाम से निजात दिलाने अवैध निर्माण रोकने सरकारी जमीनों से कब्जे हटाने के निर्णय आए दिन लिए जाते हैं मगर जहां तक नजर आता है ये फैसले और बैठक में जो विचार और चर्चा होती है उससे बाहर निकलने के बाद ज्यादातर अफसर उन्हें भूलकर अन्य कामों में लग जाते हैं। मैं यह तो नहीं कहता कि वो जिम्मेदारी और निर्णय पूरा नहीं करना चाहते लेकिन जिस प्रकार से शहर के मुख्य बाजारों और मोहल्लों मेें बाइकर्स की स्टंटबाजी और किया जाने वाला दुव्यर्वहार व कई बार यह निर्णय हो जाने के बाद भी ई रिक्शा निर्धारित मार्गों पर चलेगी घने बाजारों में इनका प्रवेश रोकने की जिम्मेदारी पुलिस की होगी उसके बावजूद जैसा पढ़ने को मिलता है ना रिक्शाओं का बाजारों में आवागमन रूक पा रहा और ना स्टंटबाजी। अतिक्रमण और अवैध निर्माण इन चारों में ही राहगीर पीड़ित होते हैं और कुछ इतना डर जाते हैं कि कई कई दिन घरों से ही नहीं निकल पाते। जब इनके खिलाफ शिकायत करने की हिम्मत दिखाता है तो पुलिस उसे ही घुमाने लगती है। और परेशान होकर वो यह सब भूलकर अपने काम में ध्यान देना पसंद करता है। मेरा मानना है कि गृह मंत्रालय और डीजीपी को हर थाने में एक सब इंस्पेक्टर और तीन पुलिसकर्मी प्रतिबंधित स्थानों पर ई रिक्शा जाने से रोकने और स्टंटबाजी पर अंकुश लगाने का काम करें। क्योंकि इतने बड़े क्षेत्र में एक जगह तैनाती से तो यह सब हो नहीं सकता इसलिए जनहित में इन्हें शस्त्रों सहित एक जीप भी उपलब्ध कराई जाए जिससे कार्य को सही प्रकार से अंजाम दे सके।

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