नई दिल्ली 27 अगस्त। पॉपुलर मैसेजिंग ऐप टेलीग्राम बड़ी मुसीबत में फंसता नजर आ रहा है। भारत सरकार ने ऐप पर जबरन वसूली और जुए जैसी अवैध गतिविधियों को बढ़ावा देने के आरोपों की जांच तेज कर दी है। अगर जांच में ये आरोप सही पाए गए तो टेलीग्राम पर भारत में बैन लग सकता है। बता दें कि ये खबर टेलीग्राम फाउंडर और सीईओ पावेल डुरोन की गिरफ्तारी के बाद आई है। भारत में टेलीग्राम के करीब 50 लाख यूजर हैं।
दरअसल, भारत सरकार के गृह मंत्रालय और इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय मिलकर टेलीग्राम पर चल रही अवैध गतिविधियों की जांच कर रहे हैं। टेलीग्राम के सीईओ पावेल डुरोव की फ्रांस में गिरफ्तारी ने इस मामले को और गंभीर बना दिया है। फ्रांसीसी अधिकारियों ने टेलीग्राम पर अपराध को बढ़ावा देने के आरोप लगाए हैं।
वहीं, हाल ही में UGC-NEET का पेपर लीक होने और टेलीग्राम पर बिकने की घटना ने भी इस मामले को और भी गंभीर बना दिया है। यह भी एक वजह है कि सरकार ने प्लेटफॉर्म पर जांच तेज कर दी है। बता दें कि इस प्लेटफॉर्म पर UGC-NEET का पेपर 5,000 रुपये से 10,000 रुपये के बीच बेचा जा रहा था।
टेलीग्राम का इस्तेमाल जबरन वसूली, जुआ और अन्य अवैध गतिविधियों के लिए किया जा रहा है। इतना ही नहीं टेलीग्राम पर चाइल्ड सेक्सुअल एब्यूज कंटेंट भी मिला है। वहीं, अब भारत सरकार टेलीग्राम पर अपनी पकड़ मजबूत करना चाहती है।
दूसरी तरफ टेलीग्राम का कहना है कि वह भारतीय कानूनों का पालन करता है और उसने सरकार की सभी शर्तें मान ली हैं। कंपनी ने एक नोडल अधिकारी और एक चीफ कंप्लायंस ऑफिसर भी नियुक्त किया है।
जांच के रिजल्ट के बेस पर ही तय होगा कि टेलीग्राम पर भारत में बैन लगेगा या नहीं। अगर जांच में आरोप सही पाए गए तो टेलीग्राम के लिए भारत में काम करना मुश्किल हो जाएगा। हालांकि ये भी दिखाता है कि सरकारें कैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को कंट्रोल करने की कोशिश करती हैं।
ड्यूरोव की गिरफ्तारी के बाद पहली बार टेलीग्राम की प्रतिक्रिया सामने आई है। कंपनी ने कहा, वह यूरोपीय संघ के कानूनों का पालन करता है, जिसमें डिजिटल सेवा अधिनियम भी शामिल है। 90 करोड़ से अधिक सक्रिय यूजर वाले मंच ने कहा, टेलीग्राम के पावेल ड्यूरोव के पास छिपाने के लिए कुछ भी नहीं है। इसका मॉडरेशन उद्योग मानकों के भीतर है और लगातार सुधार किया जा रहा है। हम इस स्थिति के शीघ्र समाधान की प्रतीक्षा कर रहे हैं।’