लखनऊ 29 मई। उत्तर प्रदेश में इन दिनों अजब-गजब मौसम देखने को मिल रहा है. पिछले 24 घंटे में कुछ स्थानों पर गरज-चमक के साथ बारिश हुई. सबसे ज्यादा बारिश बिजनौर जिले में 8 मिलीमीटर रिकॉर्ड की गई. इसके अलावा कानपुर नगर, कानपुर देहात, हरदोई जिले में भी भारी बारिश हुई.वहीं ज्यादातर जिलों में तेज धूप निकलने और आद्रता होने के कारण दिन में उमस भरी गर्मी रही और रात का तापमान भी सामान्य से 3 से लेकर 5 डिग्री सेल्सियस तक अधिक रहा.
उत्तर प्रदेश में आगामी 2 दिन तक कुछ स्थानों पर भारी वर्षा होने की संभावना मौसम विज्ञान विभाग ने जताई है. मौसम विभाग के अनुसार 60 से अधिक जिलों में गरज-चमक के साथ बारिश हो सकती है. साथ ही 40 से 50 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चलने और बिजली गिरने के भी आसार हैं.
मौसम विभाग ने बांदा, फतेहपुर, आजमगढ़, मऊ, बलिया, देवरिया, गोरखपुर, संतकबीरनगर, बस्ती, कुशीनगर, महाराजगंज, सिद्धार्थनगर, गोंडा, बलरामपुर, श्रावस्ती, बहराइच, लखीमपुर खीरी, सीतापुर, हरदोई, फर्रुखाबाद, कन्नौज, कानपुर देहात, कानपुर नगर, उन्नाव, लखनऊ, बाराबंकी, रायबरेली, अमेठी, सुल्तानपुर, अयोध्या, अम्बेडकरनगर, सहारनपुर, शामली, मुजफ्फरनगर, बागपत, मेरठ, गाजियाबाद, हापुड़, गौतम बुद्ध नगर, बुलन्दशहर, कासगंज, एटा, मैनपुरी, इटावा, औरैया, बिजनौर, अमरोहा, मुरादाबाद, रामपुर, बरेली, पीलीभीत, शाहजहांपुर, संभल, बदायूं, जालौन, हमीरपुर, महोबा, झांसी, ललितपुर में बिजली गिरने और बारिश होने की संभावना जताई है.
मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार गुरुवार को कुछ स्थानों पर बादलों की आवाजाही रहेगी. गरज चमक के साथ हल्की बारिश हो सकती है. वहीं कुछ स्थान पर 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं भी चल सकती हैं. अधिकतम तापमान 40 व न्यूनतम 28 डिग्री सेल्सियस रहने की संभावना है,
आंचलिक मौसम विज्ञान केंद्र लखनऊ के वैज्ञानिक अतुल कुमार सिंह ने बताया कि इस बार प्रदेश में सामान्य से अधिक वर्षा होने की संभावना है. देशभर में मॉनसून के दौरान औसत वर्षा दीर्घावधि औसत (LPA) का 106% रहने का अनुमान है. वहीं, उत्तर प्रदेश में यह आंकड़ा और बेहतर रहने की उम्मीद है.
पूर्वी उत्तर प्रदेश में वर्षा दीर्घावधि औसत (799 मिमी) का 110%, और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में औसत (672 मिमी) का 112% रहने की संभावना जताई गई है. इस प्रकार पूरे प्रदेश में औसत वर्षा सामान्य से 10 से 12 प्रतिशत अधिक रह सकती है. इसके अतिरिक्त, जून महीने में भी सामान्य से अधिक बारिश के कारण तापमान अपेक्षाकृत कम रह सकता है. इसका सीधा असर लू (हीटवेव) पर पड़ेगा और लू के दिनों की संख्या सामान्य से कम रहने की संभावना है.