Date: 22/11/2024, Time:

भ्रष्टाचार खत्म होगा विकास भी होगा बस चुनाव के दौरान उम्मीदवार से की जाने वाली वसूली बंद कर हमें उन पर विश्वास करते हुए उन्हें सम्मान और अपनापन देना होगा

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सिकंदर कौन बनेगा
चुनाव किसी भी स्तर का हो उम्मीदवारों में कौन जीतेगा कौन हारेगा इस पर टिप्पणी तो बहुत लोग कर सकते हैं मगर पूरे विश्वास से कोई यह नहीं कह सकता कि विजय श्री किसके सिर बंधेगी। लोग अलग अलग चर्चा करते हैं तो एक की बात तो सही होनी ही है। जिसकी बात सही निकल गई वो सिकंदर हो गया। अगले चुनाव तक उसकी यह चर्चा खूब चलती है कि उस व्यक्ति ने यह कहा था और अमुक चुनाव जीत गया। कुछ ऐसी ही स्थिति वर्तमान समय में 2024 में होने वाले लोकसभा चुनावों का समय जैसे जैसे नजदीक आ रहा है। राजनीतिक पार्टियां तो कही अकेले तो कहीं संयुक्त रूप से जीतने के दावे तो कर ही रही है। आम आदमी भी जो इस क्षेत्र में दिलचस्पी रखता है इन चर्चाओं में बढ़ चढ़कर भाग ले रहा है। एक ना एक को तो जीतना ही है। चुनाव के बाद सिकंदर कौन बनेगा यह समय ही बताएगा क्योंकि आम मतदाता अभी खामोश है।
सुविधा लेना व मांगना बंद कर दें
दोस्तों हमें हमेशा यह अफसोस रहता है कि हमारा जनप्रतिनिधि काम नहीं कर रहा है। भ्रष्टाचार रोकने में असफल है। विकास कार्य करा नहीं पा रहा। और कुछ तो कहते हैं कि मोटा माल कमा रहा है चुनाव से पहले टूटी गाड़ी पर घूमता है। अब महंगी गाड़ियों में घूम रहा है। अगर देखें तो जब परेशानियां होती है और हल नहीं निकलता तो ऐसी बातें होना आम है। मगर क्या हमने कभी सोचा है कि ऐसा क्यों होता है। तो एक ही जवाब है कि हमें इसकी फुरसत ही नही है। जब चुनाव आते हैं तो हमें चार पैसे भी चाहिए। घर घर पर्ची पहुंचाने की सुविधा भी चाहिए। झंडे बैनर भी जरूरी है लेकिन एक दो दिन पहले मतदाताओं के ठेकेदार बनने वाले कुछ लोग अपने साथ सीधे साधे वोटरों को लेकर भी उम्मीदवारों के यहां पहुंुच जाते हैं कि मेरे यहां इतने वोट हैं जो मैं ही डलवा सकता हूं और इस नाम पर कुछ लोगों का कहना है कि मोटी व्यवस्थाएं सेट की जाती है। अधिकारिक रूप से इसके कोई तथ्य तो नहीं मिलते लेकिन इसे पूरी तौर पर झूठलाया भी नहीं जा सकता। मगर हम प्रयास कर ऐसी सुविधा और माल कमाने वालों का पर्दाफाश करें तो शायद ये शिकायत चुनाव के बाद कि हमारा प्रतिनिधि काम नहीं करता कहने की नौबत ना आए।
इस्तीफा मांगने लगते हैं
दूसरी तरफ जनसमस्याओं का समाधान ना होने के पीछे एक बहुत बड़ा कारण यह है कि हम हर बात में विदेशों की तो चर्चा करते हैं कि वहां फलां सुविधाएं नागरिकों को मिलती है लेकिन यह भूल जाते हैं कि बड़ी से बड़ी घटना होने के बाद वहां के लोग सरकार और अपने जनप्रतिनिधियों को एकदम दोषी नहीं ठहराते क्योंकि लोगों को यह विश्वास होता है कि इसमें उनका कोई हाथ नहीं होगा लेकिन हमारे यहां जरा सी भी कोई घटना घटी नहीं कि हम सरकार और जनप्रतिनिधियों को दोषी ठहराकर लापरवाही या भ्रष्टाचार के आरोप लगाने लगते हैं या इस्तीफा मांगने की शुरूआत कर देते हैं।
सम्मान देना और साथ खड़े होना होगा
साथियों घर हो या बाहर व्यापार हो या उद्योग अथवा सरकार अगर उनको चलाने वालों पर हम विश्वास करेंगे और उन्हें सहयोग देंगे तो हमें निराश नहीं होना पड़ेगा। ऐसे में मुझे लगता है कि दो संकल्प अपने जनप्रतिनिधियों को काम करने का मौका देने के लिए जरूर करने होंगे। एक तो जिस दिन हम यह तय कर लेंगे कि निर्वाचन के दौरान उम्मीदवारों से पैसा और सुविधा नहीं लेंगे और हम आंख मूंदकर किसी आरोप पर विश्वास ना कर अपने नेता पर पूर्ण विश्वास करते हुए उसका मान सम्मान तो बनाए ही रखेंगे। हर परिस्थिति में उसके साथ खड़े होंगे तो एक बात विश्वास से कह सकता हूं कि दो दिन देर सवेर हमें अपने नेताओं से जो शिकायत रहती है वो समाप्त होंगी और हमारी समस्याओं के समाधान भी निकलेंगे क्येांकि जनप्रतिनिधियों को विश्वास होगा कि मेरे क्षेत्र की जनता खड़ी है। दूसरे जब हम उससे फिजूलखर्ची नहीं कराएंगे तो जो पैसा प्रत्याशियों को पानी की तरह बहाना पड़ता है तो वो बंद होगा और सारी समस्याओं का समाधान होना नजर आने लगेगा।
इसलिए हिंदुस्तान है सोने की चिड़िया
एक व्यक्ति ने विदेश में एक भारतीय से पूछा कि हिंदुस्तान को सोने की चिड़िया क्यों कहा जाता है जबकि सोना तो वहां अन्य देशों में भी हो सकता है तो उसका जवाब था कि हमारे यहां किसान कड़ी मेहनत कर अन्न उगाते हैं। इसलिए कोई भूखा नहीं सोता। हमारे यहां पति पत्नी का जन्म जन्म का साथ होता है। कोई एक दूसरे को नहीं छोड़ता। मां बाप भाई बहन के रूप में परिवार में प्रेम होता है। एक दूसरे के दर्द को दूर करते है। यही अपनेपन का सोना हमारे यहां इतना है कि हिंदुस्तान को सोने की चिड़िया कहा जाता है। बस इस कहावत को आत्मसात कर मतदाता अपने उम्मीदवारों पर प्यार और विश्वास की बरसात करने लगे तो सुख सुविधाओं की बारिश हर व्यक्ति के आंगन में होगी। बस प्यार और अपनापन दीजिए सबकुछ अपने आप हल होता चला जाएगा।

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